अरेंज मैरिज या लव मैरिज : क्या बेहतर है?

शादी की बात आते ही ‘लव मैरिज’ बनाम ‘अरेंज मैरिज’ सबसे ज्यादा चर्चा और बहस का विषय बन जाता है।

अपने आप से ये दो प्रश्न पूछें —

  1. क्या आप यह मानते हैं कि जिन जोड़ों की लव मैरिज हुई है वे सभी अपने वैवाहिक जीवन और/या अपने जीवनसाथी से खुश हैं?
  2. क्या आप यह मानते हैं कि जिन जोड़ों की अरेंज मैरिज हुई है वे सभी अपने वैवाहिक जीवन और/या अपने जीवनसाथी से खुश हैं?

निस्संदेह उपर्युक्त दोनों सवालों के जवाब ‘ना‘ ही हैं!

चाहे अरेंज मैरिज हुई हो या लव मैरिज, कुछ जोड़े खुश हैं, तो कुछ नाखुश।

मैं यह मानता हूँ कि किसी भी शादी की सफलता शादी के प्रकार — लव मैरिज या अरेंज मैरिज पर नहीं, बल्कि उस जोड़े की आपसी समझ, प्रेम, संवेदना और विश्वास पर निर्भर है।

शादी के दोनों प्रकारों के अपने-अपने फायदे और नुकसान हैं, जिन पर विचार करके आप अपने लिए सही प्रकार चुन सकते हैं। लव बनाम अरेंज मैरिज की चर्चा को आगे बढ़ाते हुए, दोनों प्रकार की शादी के मुख्य-मुख्य गुण-दोषों की बात करते हैं-

अरेंज मैरिज

गुण –

  • अरेंज मैरिज का सबसे बड़ा फायदा यह है कि दोनों परिवारों का पारंपरिक, सांस्कृतिक और सामाजिक-आर्थिक ढांचा समान होता है, और लड़का-लड़की एक-दूसरे के परिवारों के मूल्य, परंपराएँ, संस्कृति और रीति-रिवाज़ पहले से जानते हैं।
  • माता-पिता और परिवार के सदस्य आपके भावी जीवनसाथी और उनके परिवार के बारे में जानकारी जुटाते हैं।
  • शादी के बाद पति-पत्नी में किसी प्रकार का झगड़ा होने पर दोनों के परिवार झगड़ा सुलझाने के लिए मध्यस्थता करते हैं।
  • शादी के बाद, आपको एक अनजान शख्स को धीरे-धीरे जानने का मौका मिलता है। इससे शादीशुदा जीवन में एक अलग रोमांच आता है।

दोष –

  • चूंकि आपके जीवनसाथी की तलाश आपके परिवार द्वारा की गई है – आपको शादी के पहले एक-दूसरे को जानने का मौका बहुत कम मिल पाता है। अरेंज मैरिज की यह प्रमुख चुनौती है।
  • चूंकि आप दोनों शादी से पहले बिलकुल अनजान थे, इसलिए आप दोनों को लव मैरिज के मुकाबले ज्यादा तालमेल बैठाना पड़ सकता है।
  • आपको शादी के बाद अपने जीवनसाथी की पसंद, नापसंद, शौक आदि के बारे में जानने में लव मैरिज के मुकाबले ज्यादा समय लग सकता है।
  • अगर दहेज देना पड़ रहा हो तो लड़की के परिवार पर आर्थिक बोझ आएगा।

लव मैरिज

गुण –

  • लव मैरिज में आप उसी व्यक्ति से शादी करते हैं, जिससे आप प्यार करते हैं।
  • आप शादी से पहले अपने जीवनसाथी को अच्छी तरह जानते हैं।
  • शादी के बाद तालमेल में कठिनाई नहीं आती, क्योंकि वे अपने जीवनसाथी की पसंद, नापसंद, शौक आदि के बारे में पहले से जानते हैं।
  • लव मैरिज के इन फायदों को देखते हुए, यह माना जा सकता है कि शादी के बाद उस जोड़े के बीच आपसी समझ और तालमेल बेहतर होगा।

दोष –

  • प्रेम करना और शादी करना बिल्कुल अलग-अलग बातें हैं। शादी से पहले किसी को पसंद करना जीवनभर उसी तरह का प्रेम कायम रहने की गारंटी नहीं हो सकती।
  • बहुत लंबे समय से एक-दूसरे को अच्छी तरह जानने से कई जोड़े एक-दूसरे से ऊब सकते हैं।
  • दोनों के परिवारों का पारंपरिक, सांस्कृतिक और सामाजिक-आर्थिक ढांचा समान न होने की वजह से रिश्ते पर नकारात्मक असर हो सकता है।
  • परिवार वाले आपके निर्णय को (कुछ मामलों में) अस्वीकार कर सकते हैं।
  • इस विषय से जुड़ा डेटा दर्शाता है कि तलाक की दर लव मैरिज करने वाले जोड़ों में अरेंज मैरिज करने वालों के मुकाबले ज्यादा है (हम यहाँ डेटा या उसके स्रोत पर चर्चा नहीं कर रहे हैं, और वैसे भी मैं यह मानता हूँ कि शादी का प्रकार शादी की सफलता/असफलता का निर्णय नहीं कर सकता)।

निष्कर्ष –

शादी का “प्रकार” मायने नहीं रखता है। बल्कि “जोड़ा” खुद अपनी शादी को सफल या असफल बना सकता है।

  • आपका क्या विचार है, शादी का कौन-सा प्रकार बेहतर होता है?
  • आप लव मैरिज करना चाहते हैं या अरेंज मैरिज?
  • आपकी लव मैरिज हुई है या अरेंज मैरिज? आप अपने निर्णय से कितने संतुष्ट हैं?

नीचे कमेंट सेक्शन में हमें बताइए!

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